श्रीलंका में भारत को लगा झटका क्या चीन की वजह से है?
सरोज सिंह बीबीसी संवाददाता, दिल्ली इमेज स्रोत, TWITTER/@MEAINDIA इमेज कैप्शन, श्रीलंका के पीएम महिंदा राजपक्षे और भारत के पीएम नरेंद्र मोदी पड़ोसी देशों के साथ भारत के रिश्ते इन दिनों काफ़ी उतार-चढ़ाव से गुज़र रहे हैं. पाकिस्तान, चीन और नेपाल के बाद अब एक बुरी ख़बर श्रीलंका से आई है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक़ श्रीलंका में बंदरगाहों के निजीकरण के विरोध में एक मुहिम चल रही है. ट्रेड यूनियन, सिविल सोसाइटी और विपक्षी पार्टियाँ भी इस विरोध में शामिल हैं. अब वहाँ की राजपक्षे सरकार ने भारत के साथ एक ट्रांसशिपमेंट परियोजना के करार को ठंडे बस्ते में डाल दिया है. इस ट्रांसशिपमेंट परियोजना को ईस्ट कंटेनर टर्मिनल नाम से जाना जाता है. इसे बनाने का करार राष्ट्रपति मैत्रीपाला सिरीसेना- प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे सरकार के दौरान मई 2019 में हुआ था, जो भारत और जापान को मिल कर बनाना था. भारत की तरफ़ से अडानी पोर्ट को इस प्रोजेक्ट पर काम करना था. छोड़कर और ये भी पढ़ें आगे बढ़ें और ये भी पढ़ें मोदी सरकार की वैक्सीन डिप्लोमेसी से क्या चित होगा चीन? नेपाल में राजनीतिक संकट के बीच राष्ट्रपति से क्यों