#CAA ! मानवाधिकार संस्था की अपील- संशोधित नागरिकता कानून तुरंत रद्द करे भारत

 | भाषा | Updated: 11 Apr 2020, 05:36:00 AM

मानवाधिकार संस्था ह्यूमन राइट्स वॉच ने भारत से संशोधित नागरिकता कानून तुरंत रद्द करने की अपील की है। उन्होंने कहा कि यह कानून भारत के अंतरराष्ट्रीय दायित्वों का उल्लंघन करता है।

navbharat times
मानवाधिकार संस्था की अपील- संशोधित नागरिकता कानून तुरंत रद्द करे भारत

नई दिल्ली
मानवाधिकार संस्था ह्यूमन राइट्स वॉच ने शुक्रवार को कहा कि भारत को संशोधित नागरिकता कानून तुरंत रद्द करना चाहिए और यह सुनिश्चित करना चाहिए कि भारत की शरण संबंधी या शरणार्थी नीति धर्म अथवा किसी भी आधार पर भेदभाव करने वाली न हो। साथ ही यह अंतरराष्ट्रीय कानून के मानकों के अनुरूप हो।

मानवाधिकार संस्था के दक्षिण एशिया क्षेत्र की निदेशक मीनाक्षी गांगुली ने 82 पन्नों की रिपोर्ट 'शूट दी ट्रेटर्स: डिस्क्रिमिनेशन अगेंस्ट मुस्लिम्स अंडर इंडियाज न्यू सिटिजनशिप पॉलिसी' जारी करते हुए कहा कि नया संशोधित नागरिकता कानून भारत के अंतरराष्ट्रीय दायित्वों का उल्लंघन करता है, जिनके मुताबिक नस्ल, रंग,वंश, राष्ट्र आदि के आधार पर नागरिकता देने से इनकार नहीं किया जा सकता।

गांगुली ने कहा, 'भारत के प्रधानमंत्री (नरेंद्र मोदी) ने कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई में एकजुट होने की अपील की है लेकिन भेदभाव तथा मुस्लिम-विरोधी हिंसा के खिलाफ लड़ाई के लिए एकजुटता का अब तक आह्वान नहीं किया है।' रिपोर्ट में आरोप लगाया गया कि सरकार की नीतियों ने भीड़ हिंसा और पुलिस की निष्क्रियता के लिए दरवाजे खोले जिससे देश भर में मुस्लिमों और अन्य अल्पसंख्यक समुदायों के बीच डर पैदा हुआ है।
साभार :-

Comments

Popular posts from this blog

"बक्श देता है 'खुदा' उनको, ... ! जिनकी 'किस्मत' ख़राब होती है ... !! वो हरगिज नहीं 'बक्शे' जाते है, ... ! जिनकी 'नियत' खराब होती है... !!"

Magar Momino pe Kushada hain rahen || Parashtish karen Shauq se Jis ki chahein