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तीन तलाक़ क़ानून पर सुनवाई को तैयार सुप्रीम कोर्ट !

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इस पोस्ट को शेयर करें Facebook   इस पोस्ट को शेयर करें WhatsApp   इस पोस्ट को शेयर करें Messenger   साझा कीजिए इमेज कॉपीरइट GETTY IMAGES तीन तलाक़ को दंडात्मक अपराध बनाने वाले क़ानून को चुनौती देने वाली तीन याचिकाओं की सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई पर सहमति दे दी है. साथ ही सर्वोच्च न्यायालय ने इस संबंध में केंद्र सरकार को नोटिस भी जारी किया है. याचिका में मुस्लिम महिला (विवाह अधिकार संरक्षण) एक्ट की संवैधानिक वैधता को चुनौती दी गई है जिसे पिछले महीने ही संसद में पास किया गया था. सुप्रीम कोर्ट की कार्यवाहियों पर नज़र रखने वाले वरिष्ठ पत्रकार सुचित्र मोहंती ने बताया कि जस्टिस एनवी रमन्ना ने भारत सरकार को नोटिस भेजा है. याचिकाकर्ताओं में से एक जमीयत उलेमा-ए-हिंद ने कहा है कि इस क़ानून के तहत तीन तलाक़ को ग़ैर ज़मानती अपराध बनाया गया ताकि मुस्लिम पुरुषों को तीन साल के लिए जेल में बंद किया जा सके जबकि इसी भारत में पत्नी को छोड़ देना अपराध नहीं माना जाता है. संगठन का कहना था कि इस क़ानून के तहत तीन साल की सज़ा का प्रावधान 'असंगत और ज़्यादत

ज़रूरी नहीं भारत ट्रंप की बात मान ही ले'

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इस पोस्ट को शेयर करें Facebook   इस पोस्ट को शेयर करें WhatsApp   इस पोस्ट को शेयर करें Messenger   साझा कीजिए इमेज कॉपीरइट GETTY IMAGES क्या अमरीकी राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप सिर्फ़ वही कहते हैं जो कोई उनके कानों में बोल देता है? सुनने में अजीब लगता है. मगर, भारत के राजनयिक हलक़ों और सामरिक विश्लेषकों के बीच इसी बात को लेकर बहस छिड़ी हुई है. ताज़ा मामला उस वक़्त का है जब रोमानिया के राष्ट्रपति के साथ ट्रंप व्हाइट हाउस में एक संवाददाता सम्मेलन को सम्बोधित कर रहे थे. वहां मौजूद एक पत्रकार के सवाल का जवाब देते हुए उन्होंने एक बार फिर कश्मीर की स्थिति को 'विस्फोटक' और 'जटिल' की संज्ञा दी. उन्होंने इस दौरान भारत और पाकिस्तान के बीच मध्यस्थता करने की पेशकश भी की. अमरीकी राष्ट्रपति का ये बयान भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और पकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान ख़ान से फ़ोन पर बात करने के ठीक एक दिन बाद ही आया. इमेज कॉपीरइट EPA पत्रकार सम्मेलन में उन्होंने कहा, "कश्मीर एक जटिल समस्या है जहाँ हिंदू भी हैं और मुसलमान भी और मैं ये नहीं कहूंगा कि उन

एनडीटीवी पर सीबीआई ने एक और एफ़आईआर दर्ज की

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इस पोस्ट को शेयर करें Facebook   इस पोस्ट को शेयर करें WhatsApp   इस पोस्ट को शेयर करें Messenger   साझा कीजिए इमेज कॉपीरइट PRANNOY ROY केंद्रीयअन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) ने समाचार चैनल एनडीटीवी के प्रमोटर प्रणय रॉय और उनकी पत्नी राधिका रॉय के ख़िलाफ़ विदेशी निवेश से जुड़े नियमों का उल्लंघन करने के आरोप में मुक़दमा दर्ज किया है. प्रणय रॉय और राधिका रॉय एनडीटीवी के संस्थापक भी हैं. एनडीटीवी ने इन नए आरोपों को सिरे से ख़ारिज किया है. सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय पहले से ही प्रणय रॉय और एनडीटीवी के ख़िलाफ़ कई आरोपों में जांच कर रहे हैं. हाल ही में प्रणय और उनकी पत्नी राधिका को विदेश जाने से रोक दिया गया था. वहीं एनडीटीवी ने एक बयान जारी कर सभी आरोपों को खारिज किया है. null आपको ये भी रोचक लगेगा डीयू में रात को चुपके से लगा दी गई सावरकर की मूर्ति बीस साल में बूढ़ी हो जाएगी दिल्ली कश्मीर पर अब चीन ने दी भारत को सलाह राम जन्मभूमि विवाद नहीं सुलझा पाई समिति null. एनडीटीवी की ओर से जारी बयान में कहा गया है, "स्वतंत्र प्रेस के निरंतर उत्पीड़न के रूप में