देवी हो या कोई सियासत का देवता

देवी हो या कोई सियासत का देवता

पीछे नहीं है इलेक्शन के रेश में

वोटर का खून पीते हैं बनते हैं कुछ वजीर

ऐसे हैं कई भेड़िये इंसान के भेस में.
( असद रजा , राष्ट्रीय सहारा उर्दू दैनिक 25/2/14 )

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